अस्सलाम वालेकुम मेरे प्यारे भाइयों और बहनों आज हम आपको बताने जा रहे हैं कि मियां और बीवी का साथ में नहाना सही है या गलत है? दोस्तों बहुत सारे लोग यह सवाल पूछते हैं कि क्या मियां और बीवी का साथ में नहाना सही है या गलत? इस बारे में हजरत आयशा र.अ. से एक रिवायत है कि मैं और रसूले पाक एक साथ एक ही बर्तन से गुसूल किया करते थे। जब वह नहाते थे तब मैं उनसे कहती थी कि मेरे लिए भी थोड़ा पानी छोड़ दें फिर मैं उसी बर्तन से और उस पानी से नहाती थी.
यह बात अलग है कि मियां और बीवी के एक साथ नहाने पर उन दोनों को अपनी शर्मगाहो की हिफाजत करनी चाहिए लेकिन जब अल्लाह ने हमबिस्तरी से मना नहीं किया तो एक साथ नहाने पर भी कोई रोक नहीं है लेकिन दोस्तों हमें कोशिश करना चाहिए कि हम इस काम से बचें। ऐसी बहुत सारी चीजें हैं जो इस्लाम में तो है लेकिन अगर उनसे बचा जाए तो ज्यादा बेहतर है.
ऐसे ही मियां और बीवी का एक साथ नहाना भी उन्हीं चीजों में से एक है ।आप नहा तो सकते हैं लेकिन कोशिश करें कि साथ में नहाने से बचे। अब सवाल उठता है कि जब एक साथ नहाना जायज है तो इससे बचना क्यों चाहिए ।तो मेरे भाइयों और बहनों आपको बता दे कि अल्लाह ने ऐसी बहुत सारी चीजें बनाई है जो जायज़ तो है लेकिन उसे करने से बचना चाहिए जैसे “तलाक”। तलाक का मसला आज एक आम बात मन चुका है.

तलाक अल्लाह के बनाए हुए जायज़ कामो में से एक है लेकिन इंसान को तलाक से बचना चाहिए क्योंकि अल्लाह को अपने बनाए गए जायस कामों में से तलाक बिल्कुल भी पसन्द नहीं है। जिस वक्त किसी का तलाक होता है उस वक्त अल्लाह नाराज़ होता है ,फरिश्ते रोते हैं ,और शैतान खुश होता है ।अल्लाह ने तलाक को बहुत बड़ी मजबूरी के तहत ही लेने के बारे में हुक्म दिया है.

लेकिन आजकल तो छोटी छोटी बातों पर ही तलाक हो रहे हैं जैसे अगर किसी की बीवी ने खाने में नमक कम डाला तो शौहर ने उसे तलाक दे दिया, मां की बातों में आकर शौहर ने बीवी को तलाक दे दिया, बहन की बातों में आकर शौहर ने बीवी को तलाक दे दिया, किसी की बीवी मायके ज्यादा जा रही है तो तलाक हो गया ,किसी की बीवी अगर ऊंची आवाज में बात करती है तो तलाक हो गया। अल्लाह ने तलाक इन छोटी-छोटी बातों के लिए नहीं बनाया है.